Friday, February 25, 2011

होना न जुदा कभी


यादों का क्या है वो तो तडपातीं हैं ख्वाबों में ,
इसी को कहतें हैं न क्या से क्या हो गए प्यार में !
वजूद में शामिल रहो हमेशा ज्यों फूल में महक ,
होना न जुदा कभी ज्यों अमावस में चाँद की चांदनी !!

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