तेरे हुस्न की चादर ओढ़े है ये रात चांदनी,
तेरे काजल की गहराई में डूबी है ये रात रागिनी !
ठंडी हवा का झोंका तेरी साँसों की महक है लाया,
मैंने खुदा से आज रात फिर जीने की वजह मांग ली !
आज रात तो गुज़र जाए पर कल सवेरा हो जाएगा ,
वो अपने साथ तुझसे मिलने की नयी आस लायेगा !
तुझे देखना ही सिर्फ इन आँखों की हसरत है शायद ,
कल फिर बिना कुछ कहे ये दिल घर लौट आयेगा !
रास्ते नज़र नहीं आते तेरे तक जाने को बिछी रहती है.
हर पल ये आँखें तेरी एक आहट के आने को !
तेरी गैर मौजूदगी का गम तो एक बहाना है .
मेरी किस्मत ही राज़ी नहीं शायद मुझे आजमाने को !
तेरे काजल की गहराई में डूबी है ये रात रागिनी !
ठंडी हवा का झोंका तेरी साँसों की महक है लाया,
मैंने खुदा से आज रात फिर जीने की वजह मांग ली !
आज रात तो गुज़र जाए पर कल सवेरा हो जाएगा ,
वो अपने साथ तुझसे मिलने की नयी आस लायेगा !
तुझे देखना ही सिर्फ इन आँखों की हसरत है शायद ,
कल फिर बिना कुछ कहे ये दिल घर लौट आयेगा !
रास्ते नज़र नहीं आते तेरे तक जाने को बिछी रहती है.
हर पल ये आँखें तेरी एक आहट के आने को !
तेरी गैर मौजूदगी का गम तो एक बहाना है .
मेरी किस्मत ही राज़ी नहीं शायद मुझे आजमाने को !
No comments:
Post a Comment